कोई दिन गर ज़िंदगानी हिंदी लिरिक्स – Koi Din Gar Zindagani Hindi Lyrics (Talat Mahmood, Vinod Sehgal, Mirza Ghalib)

मूवी या एलबम का नाम : मिर्ज़ा ग़ालिब (टीवी) (1988) संगीतकार का नाम – जगजीत सिंह हिन्दी लिरिक के लिरिसिस्ट – मिर्ज़ा ग़ालिब गाने के गायक का नाम – तलत महमूद, विनोद सहगल कोई दिन गर ज़िंदगानी और है अपने जी में हमने ठानी और है आतिश-ए-दोज़ख़ में ये गर्मी कहाँ सोज़-ए-ग़म-हाए-निहानी और है बारहा देखीं हैं उनकी रंजिशें पर कुछ अब के सर-गिराऩी और है दे के ख़त मुँह देखता है नामाबर कुछ तो पैग़ाम-ए-ज़बानी और है हो चुकी “ग़ालिब” बलाएँ सब तमाम एक मर्ग-ए-नागहानी और है कोई दिन गर ज़िंदगानी…

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